Navaratri 2022 : शारदीय नवरात्रि पर शिव की नगरी काशी का नज़ारा बेहद खूबसूरत और अलग दिखने लगता है। मानो आप मिनी बंगाल घूमने पहुंच गए हों। काशी की गलियों से लेकर चौराहों और सड़कों तक बने दुर्गा पंडालों की रौनक से शहर में मानो चार दिन मेला लग जाता है। इस बार अगर आप दुर्गा पंडाल देखने का प्लान बना रहे हैं या आप वाराणसी घूमने पहुंचे हैं तो यहां के कुछ बेहतरीन और Must Visit दुर्गा पंडालों को देखना न भूलें। आईये- आपको बताते हैं वाराणसी में हर साल सजने वाले Most Famous दुर्गा पंडालों के बारे में, जिसे देखने हजारों की भीड़ पहुंचती है।
हथुआ मार्केट में बना है काथमांडू का पशुपति नाथ मंदिर
चेतगंज के हथुआ मार्केट में इस बार आपको काथमांडू के पशुपति नाथ मंदिर का पंडाल देखने को मिलेगा। मां दुर्गा की भव्य प्रतिमा को देखने हर साल हजारों लोग पहुंचते हैं। हथुआ मार्केट में प्रिमियर ब्वायज क्लब की ओर से हर साल मां दुर्गा की इलेक्ट्रॉनिक प्रतिमा स्थापित की जाती है। सप्तमी से लेकर नवमी तक शाम के वक्त मां दुर्गा के इलेक्ट्रॉनिक प्रतिमा को देखने के लिए लोगों की भीड़ उमड़ती है। ये शो लगभग 5-10 मिनट का होता है।
मछोदरी पर सजा है गुजरात के कष्टभंजन हनुमान मंदिर का पंडाल
मछोदरी पार्क में बाबा मछोदरनाथ पूजा समिति की ओर से गुजरात, सारंगपुर के कष्टभंजन हनुमान मंदिर का प्रतिकात्मक पंडाल बनाया गया है। समिति के अध्यक्ष घनश्याम यादव ने बताया कि 70 फीट के इस पंडाल को बंगाल के 25 कारीगर गौतम के दिशा निर्देशन में बना है, जिसे कारीगरों ने 3 से 4 हफ्तों में बनाया है। इसे बनाने में लगभग 15 लाख रुपये लगे हैं। पंडाल के अंदर द्रविड़ सभ्यता का स्ट्रक्चर लगा है। पंडाल में लगे बड़े बड़े झूमर इसकी भव्यता को और बढ़ा दे रहे हैं।
सनातन धर्म इंटर कॉलेज में बना है श्री काशी विश्वनाथ मंदिर
गिरजा घर चौराहे से कुछ दूर नई सड़क स्थित सनातन धर्म इंटर कॉलेज परिसर का दुर्गा पंडाल विश्वनाथ कॉरिडोर की प्रतिकात्मक रूप है। यहां आपको मां दुर्गा के इलेक्ट्रॉनिक झांकी में देवी दुर्गा महिषासुर का वध करती दिखेंगी। हर साल वाराणसी में सनातन धर्म का पंडाल और यहां की इलेक्ट्रॉनिक मूर्ति को देखने के लिए हजारों लोग पहुंचते हैं। सप्तमी और अष्टमी पर इसे देखने के लिए लंबी लाइन लगती है।
अर्दली बाजार का पंडाल
नवरात्री में इस बार अर्दली बाजार में जय मातादी स्पोर्टिंग क्लब की ओर से विश्वनाथ धाम के गेट नंबर चार जैसा पंडाल बनवाया गया है। मंदिर-मस्जिद के आगे हिंदू-मुस्लिम तिरंगा लेकर खड़े हैं। पहाड़ों पर शिवजी ध्यान मुद्रा में दिखेंगे। वैष्णो देवी के भी दर्शन होंगे। इस बार यहां अमृत महोत्सव के तहत देव प्रतिमाएं तिरंगा थीम पर वस्त्र पहने दिखेंगे।