Top Wrestlers : बजरंग पुनिया और विनेश फोगट, साक्षी मलिक सहित भारत के टॉप पहलवान (Top Wrestlers), रेसलिंग फेडरेशन ऑफ इंडिया (WFI) के प्रमुख और अन्य ट्रेनरों पर महिलाओं के यौन शोषण का आरोप लगाने के महीनों बाद, एक नई शिकायत के साथ रविवार को अपने पुराने विरोध स्थल जंतर-मंतर पर वापस बैठ गए हैं।
पहलवानों (Top Wrestlers) ने केंद्र से भाजपा के डब्ल्यूएफआई प्रमुख बृजभूषण शरण सिंह के खिलाफ यौन उत्पीड़न के आरोपों की जांच करने वाले निरीक्षण पैनल के रिजल्ट को सार्वजनिक करने की मांग की है। पहलवानों ने मांग की कि बृजभूषण के खिलाफ प्राथमिकी दर्ज की जाए। वहीं बृजभूषण ने इन सभी आरोपों से इंकार किया है।
क्यों जंतर मंतर पर वापस न्याय मांगने पहुंचे देश के Top Wrestlers
- साक्षी मलिक, विनेश फोगट और अन्य पहलवानों ने कहा कि एक नाबालिग सहित सात महिला पहलवानों ने शुक्रवार को बृजभूषण शरण सिंह के खिलाफ यौन उत्पीड़न की शिकायत दर्ज कराई, लेकिन अभी तक प्राथमिकी दर्ज नहीं की गई है।
- पहलवानों ने कहा कि बृजभूषण शरण सिंह इतने गंभीर आरोपों के बावजूद महासंघ चला रहे हैं। इस बीच, डब्ल्यूएफआई अध्यक्ष के रूप में 12 साल पूरे कर चुके सिंह ने पुष्टि की है कि वह सात मई को होने वाले डब्ल्यूएफआई चुनाव में शीर्ष पद के लिए चुनाव नहीं लड़ेंगे। लेकिन, पहलवान इस बात पर अड़े हैं कि जब तक महासंघ प्रमुख की गिरफ्तारी नहीं हो जाती, तब तक वे धरना स्थल नहीं छोड़ेंगे।
- दिग्गज मुक्केबाज मैरी कॉम की अध्यक्षता वाले छह सदस्यीय निरीक्षण पैनल ने अप्रैल के पहले सप्ताह में अपनी रिपोर्ट सौंपी थी लेकिन सरकार ने अभी तक इसे सार्वजनिक नहीं किया है। पहलवानों ने निराशा व्यक्त की है कि सरकार ने अभी तक सरकारी पैनल की रिपोर्ट को सार्वजनिक नहीं किया है।
- विनेश फोगट ने रविवार को कहा, “तीन महीने हो गए हैं और हमें न्याय नहीं मिला है। इसलिए हम यहां फिर से न्याय मांगने आए हैं। हम तब तक, यहीं सोएंगे-खाएंगे जब तक हमें न्याय नहीं मिल जाता।”
- विनेश फोगट, जिन्होंने कहा कि समिति के सदस्य और खेल मंत्रालय के अधिकारी उन्हें जवाब नहीं दे रहे हैं। आरोप लगाया कि अब पुलिस पानी और भोजन को भी विरोध स्थल पर ले जाने की अनुमति नहीं दे रही है।
- ये विरोध 18 जनवरी को भारत की सबसे सम्मानित महिला पहलवानों में से एक विनेश फोगट के आरोपों के साथ शुरू हुआ। अब जंतर-मंतर पर पहलवानों की वापसी के बाद सोमवार से और भी पहलवानों के धरने में शामिल होने की संभावना है। पहलवानों ने अब राजनीतिक पार्टियों को भी जंतर-मंतर आने के लिए बोल दिया है, जबकि पिछली बार पहलवानों ने सभी राजनीतिक पार्टियों को धरना स्थल पर आने से मना कर दिया था।
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